शेयर मार्केट क्या है? और शेयर मार्केट में पैसे कैसे कमाए?
जब भी हम ऑनलाइन पैसा कमाने के बारे में सोचते हैं तो हमारे पास सबसे पहला विकल्प होता है शेयर बाजार, क्योंकि शेयर बाजार एक ऐसा गहरा कुआं है जो पूरे भारत में पैसे की प्यास बुझा सकता है, यह बात आपने कभी न कभी सुनी होगी।
इस लेख के माध्यम से हम शेयर बाजार के बारे में सारी जानकारी देंगे जैसे शेयर मार्केट क्या है हिंदी में, डीमैट अकाउंट क्या है, डीमैट खाता खोलने की प्रक्रिया, शेयर मार्केट में पैसा कैसे लगाएं और शेयर मार्केट कैसे सीखे आदि। यह जानने के बाद आप शेयर बाजार में निवेश करके आसानी से पैसा कमा सकते हैं।
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शेयर मार्केट क्या है हिंदी में? – What is share market in hindi:
Share Market को समझना बहुत आसान है, आप इसे ऐसे समझ सकते हैं जैसे कोई कंपनी है जिसका नाम ITC है। यदि आप अपना पैसा इस कंपनी में निवेश करना चाहते हैं, इसके लिए आपको आईटीसी कंपनी के शेयर खरीदने होंगे, इस तरह आप कंपनी में अपना पैसा लगा सकते हैं।
शेयर मार्केट क्या है? और शेयर मार्केट में पैसे कैसे कमाए?
अब सवाल आता है कि हम पैसे कैसे कमाएंगे? इसे आप ऐसे समझ सकते हैं जैसे itc कंपनी के शेयर की कीमत अब ₹200 रुपये है, यदि भविष्य में इस कंपनी के शेयर की कीमत बढ़ जाती है और इसकी कीमत ₹250 हो जाती है, तो अब आपको प्रत्येक शेयर पर ₹50 रुपये का लाभ मिलेगा।
लेकिन अगर इस कंपनी के शेयर की कीमत घटकर ₹150 रह जाती है, तो इस हालत में आपका नुकसान होगा, आपको प्रत्येक शेयर पर ₹50 रुपये का नुकसान होगा, इसलिए आपको अपना पैसा लगाने से पहले सही कंपनी चुननी होगी, शेयर बाजार में आप कुछ भी खो या हासिल कर सकते हैं।
डीमैट अकाउंट क्या है?:
शेयर बाजार में निवेश या Trade करने के लिए आपको एक डीमैट account की आवश्यकता होती है, तभी आप किसी भी कंपनी के शेयर खरीद और बेच सकते हैं। हम आपको Upstox Application में account खोलने की सलाह देंगे क्योंकि रतन टाटा ने भी upstox app पर निवेश किया है, यह एक बहुत ही सुरक्षित एप्लिकेशन है। Upstox पर account खोलना बहुत आसान है लेकिन आपका मोबाइल नंबर आधार कार्ड से जुड़ा होना आवश्यक है और आप अपना खाता Upstox App में बिल्कुल मुफ्त खोल सकते हैं।
डीमैट खाता कैसे खोले?:
Upstox App पर खाता खोलने के लिए, नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक करें और फिर अपनी basic Details दर्ज करें, आपका अकाउंट खुल जाएगा और फिर 24 घंटे के अंदर आपको अपना यूजर आईडी और पासवर्ड आपके ईमेल पर भेज दिया जाएगा। फिर आपको पासवर्ड रीसेट करना होगा और एक मजबूत पासवर्ड सेट करना होगा, फिर आप अपनी ट्रेडिंग शुरू कर सकते हैं।
इंट्राडे ट्रेडिंग क्या होती हैं? – What is Intraday Trading? :
जब आप शेयर बाजार की दुनिया में अपना पहला कदम रखते हैं तो आपको इंट्राडे ट्रेडिंग के बारे में सुनने को मिलता है। इंट्राडे ट्रेडिंग वह है। आपको किसी भी कंपनी के शेयर सुबह 9:15 बजे से दोपहर 3:15 बजे तक खरीदने और बेचने होते हैं, अगर आप बेचना भूल जाते हैं, तो वह अपने आप बिक जाता है।
यदि आपको लाभ होता है या आपको हानि होती है, तो यह आपके ट्रेडिंग खाते में आता है, जिसे आप अपने बैंक में स्थानांतरित (transfer) कर सकते हैं। लेकिन अगर आप intraday trading करते हैं तो upstox द्वारा आपको 5x का मार्जिन (margin) दिया जाता है। अगर आपके पास एक हजार रुपये हैं तो आप upstox app से पांच हजार के शेयर खरीद और बेच सकते हैं।
डिलीवरी ट्रेडिंग (Delivery Trading) क्या होता हैं? :
यदि आपने किसी कंपनी के शेयर खरीद लिया है और आप इन सभी शेयरों को कुछ दिनों या कुछ सालों बाद बेचना चाहते हैं, तो आपको कंपनी के share को delivery order में खरीदना होगा, उसके बाद आप उन शेयरों को अपनी इच्छानुसार किसी भी समय बेच सकते हैं।
शेयर कैसे खरीदते और बेचते हैं?:
Upstox App में जब आप अपना खाता खोलते हैं, तो इसके बाद आप शेयर बाजार में ट्रेड कर सकते हैं, इस वीडियो में आपको upstox app में शेयर खरीदना और बेचना सिखाया गया है। आप नीचे दिए गए वीडियो को देखकर सीख सकते हैं।
शेयर मार्केट में पैसा कैसे लगाएं? और शेयर मार्केट कैसे सीखे:
शेयर बाजार में निवेश करने से पहले शेयर बाजार के बारे में जानना बहुत जरूरी है। जिसका ये फायदा होगा की आपको नुकसान बहुत कम होगा और लाभ अधिक होगा यदि आपको शेयर मार्किट के बारे में सीखना है, तो आप दिए गए कोर्स को देखकर फ्री में शेयर मार्केट के बारे में जान सकते हैं।
Tips & शेयर बाजार में कितने तरह से पैसा लगा सकते Conclusion: काफी लोग ये जानना चाहते हैं की न्यूनतम राशि शेयर बाजार में निवेश करने के लिए कितनी होनी चाहिए ?. तो इसका जवाब है कि आप ₹100 रुपये से शुरू कर सकते हैं लेकिन अगर आपको शेयर बाजार के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं है, इसलिए आपको सबसे पहले शेयर बाजार में बहुत कम रकम लेकर आना चाहिए, क्योंकि इस बात की बहुत ज्यादा संभावना है कि आप अपना पैसा भी गंवा सकते हैं। इसलिए आपको शेयर मार्केट को अपने रिस्क के हिसाब से सीखना चाहिए।
क्या आप भी करना चाहते हैं शेयर बाजार से कमाई, स्टेप बाई स्टेप जानिए क्या है पूरा प्रोसेस
शेयर बाजार ( Share Market ) में निवेश तो कई लोग करना चाहते हैं लेकिन इस बाजार की टेक्निकल बातों और बाजार के जोखिम के चलते लोग यहां निवेश करने से घबरातें हैं. लेकिन सही रणनीति और सुझबुझ से यहां पैसा बनाया जा सकता है.
शेयर बाजार ने 21 जनवरी को नया रिकॉर्ड बनाया. बीएसई के सेंसेक्स ने गुरुवार को 50,000 का ऐतिहासिक आंकड़ा पार कर गया. इस दौरान केवल कुछ ही मिनटों में शेयर बाजार से निवेशकों 1.40 लाख करोड़ रुपए की कमाई कर डाली. बुधवार को बीएसई लिस्टेड कंपनियों का कुल मार्केट कैप 1,97,70,572.57 करोड़ रुपए था, जो गुरुवार को शुरुआती कारोबार में 1,35,552 करोड़ रुपए बढ़कर 1,99,06,124.57 करोड़ रुपए हो गया. दरअसल जनवरी का महीना निवेशको के लिए काफी शुभ रहा है. केवल जनवरी महीने में बीएसई का कुल मार्केट कैप 11 लाख करोड़ रुपए बढ़ गया है.
शेयर बाजार में निवेश कई लोग करना चाहते हैं लेकिन इस बाजार की टेक्निकल बातों और बाजार के जोखिम के चलते लोग यहां निवेश करने से कतराते हैं. इसलिए टीवी 9 हिन्दी आज आपको इस बाजार की कठिन से कठिन चीज आसान भाषा में समझाने जा रहा है. बाजार में निवेश की शुरूआत से लेकर इसके कठिन पहलुओं पर टीवी9 हिन्दी ने फिनोलॉजी के सीईओ प्रांजल कामरा से बातचीत की. आइए जानते हैं क्या है बाजार और कैसे शुरू कर सकते हैं इसमें निवेश.
सबसे पहले तय करें रणनीति
किसी भी निवेश से पहले आपको यह जानना जरुरी है कि आखिर आप निवेश करना क्यों चाहते हैं. अपने वित्तीय लक्ष्य को हासिल करने के तरीके को जानना सबसे महत्वपूर्ण चीजों में से एक है जिसे आप अपने लिए कर सकते हैं. और, आपको ऐसा करने के लिए एक विशेषज्ञ होने की जरूरत नहीं है. आपको केवल कुछ मूल बातें जानने की जरूरत है, एक योजना बनाएं और उसका पालन करने के लिए पर्याप्त अनुशासित रहें.
क्यों करना चाहते हैं निवेश
अपने आप से पूछें कि आप क्या चाहते हैं और अपने सबसे महत्वपूर्ण वित्तीय लक्ष्यों को लिस्ट बना लें कि आप इस बाजार में निवेश किस लक्ष्य को हासिल करने के लिए करना चाहते है. आपको यह तय करना होगा कि आप शादी के लिए निवेश कर रहे हैं, अपने बच्चे के कॉलेज फंड, सेवानिवृत्ति, या कुछ और. फिर, तय करें कि आपको अपने लक्ष्य को कितने वर्षों में पूरा करना है. ऐसा इसलिए है क्योंकि जब आप निवेश करते हैं, तो यह आपके लिए सबसे जरुरी ये जानना होता है कि इसमें आपको प्रवेश कब करना है और निकलना कब है. डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट्स खोलें
निवेश शुरू करने के लिए, आपको डीमैट और ट्रेडिंग खातों की जरुरत होता है. इसकी शुरूआत आप इन 3 आसान स्टेप में कर सकते हैं.
स्टेप 1: एक स्टॉक ब्रोकर चुनें जहां डीमैट और ट्रेडिंग खाता खुलवाया जा सकें स्टेप 2: केवाईसी के नियमों को पूरा करें. चरण 3: शेयर बाजार में कितने तरह से पैसा लगा सकते केवाईसी की सत्यापन प्रक्रिया पूरा होते ही आप बाजार से कमाई करने के लिए आप रजिस्टर्ड हैं.
अब निवेश के लिए बजट निर्धारित करें
बजट तय करना निवेश का महत्वपूर्ण हिस्सा है. आपको यह पता लगाने की आवश्यकता है कि शेयरों में निवेश शुरू करने के लिए आपको कितना पैसा चाहिए. इसके अलावा, विश्लेषण करें कि क्या वार्षिक एकमुश्त निवेश करना आपके लिए अनुकूल होगा या यह मासिक आधार पर अधिक आकर्षक होगा. यह बजट अंततः आपके निवेश लक्ष्यों और उन्हें कैसे प्राप्त किया जा सकता है, हालांकि इसमें सबसे ज्यादा ध्यान देने वाले बात यह है कि आप कोई ऐसा लक्ष्य तुरंत के लिए न बना लें जिसमें सीधे 50 फीसदी का मुनाफा हो.
निफ्टी में निवेश : जब आप यह सब पता लगा लेते हैं, तो आप निफ्टी जैसे सूचकांकों के लिए तैयार हैं. ऐसा करने के कई तरीके हैं:
1. स्पॉट ट्रेडिंग और डेरिवेटिव ट्रेडिंग
निफ्टी में निवेश करने का सबसे सरल तरीका किसी कंपनी के स्टॉक्स को खरीदना. जब आप किसी कंपनी का स्टॉर खऱीदते हैं तो आप उनकी कीमत बढ़ने पर पूंजीगत लाभ का फायदा उठा सकते हैं. वहीं डेरिवेटिव्स एक तरह वित्तीय अनुबंध हैं ये स्टॉक, कमोडिटीज, मुद्राएं आदि हो सकते हैं. इस पद्धति के साथ, पार्टियां भविष्य की तारीख में अनुबंध का निपटान करने के लिए सहमत होती हैं और अंतर्निहित परिसंपत्ति के भविष्य के मूल्य पर दांव लगाकर लाभ कमाती हैं. निफ्टी इंडेक्स में ट्रेडिंग के लिए, आपके पास दो डेरिवेटिव इंस्ट्रूमेंट्स हैं:
● निफ्टी फ्यूचर्सः
आसान शब्दों में, फ्यूचर्स कॉन्ट्रेक्ट खरीदार और विक्रेता के बीच भविष्य की तारीख पर निफ्टी लॉट के ट्रेडिंग का एक समझौता है. अनुबंध की अवधि के दौरान, यदि कीमत बढ़ जाती है, तो आप स्टॉक बेच सकते हैं और यील्ड कमा सकते हैं. यदि कीमत कम हो जाती है, तो आप सेटलमेंट डेट तक इंतजार कर सकते हैं ताकि कीमत कम हो सकें.
● निफ्टी ऑप्शंसः
एक ऑप्शन कॉन्ट्रेक्ट वह है जो खरीदार और विक्रेता के बीच निफ्टी लॉट को एक विशिष्ट मूल्य पर भविष्य की तारीख में व्यापार करने के लिए निर्धारित किया जाता है. ऑप्शन कॉन्ट्रेक्ट का खरीदार प्रीमियम का भुगतान करके कानूनी अधिकार प्राप्त करता है. हालांकि, अगर भविष्य में कीमत लाभ दे रही है तो भविष्य में निफ्टी को खरीदने / बेचने का दायित्व उनका नहीं है.
इंडेक्स फंड्स
यह एक पोर्टफोलियो (स्टॉक, बॉन्ड, इंडेक्स, मुद्राएं, आदि) के साथ म्यूचुअल फंड का एक प्रकार है, जो मार्केट इंडेक्स (स्टॉक और उनकी कीमत में उतार-चढ़ाव) के घटकों को मैच या ट्रैक करने के लिए डिज़ाइन किया गया है, जो व्यापक बाजार प्रदर्शन प्रदान करता है. ये फंड निफ्टी सहित विभिन्न सूचकांकों में निवेश करते हैं.
हाल के वर्षों में निफ्टी इंडेक्स और शेयर बाजार में बड़े पैमाने पर वृद्धि ने खुदरा निवेशकों, संस्थागत निवेशकों और विदेशी निवेशकों को आकर्षित किया है, जो सीधे या इंडेक्स फंड के माध्यम से अपने पैसे को इंडेक्स में डालते हैं. निवेश करते समय बस ऊपर दिए गए बातों को ध्यान में रखेंगे तो आप बाजार से भी बिना ज्यादा जोखिम अच्छा मुनाफा कमा सकते है.
काम की खबर: नजारा का IPO तो खुला, लेकिन जानिए कैसे करें IPO में निवेश, डीमैट अकाउंट है जरूरी
हमारे देश में बचत के पैसे लगाने यानी निवेश करने के कई तरीके हैं। इन्ही में से एक है 'इनीशियल पब्लिक ऑफर' यानि IPO। निवेश का ये तरीका आज कल ट्रेंड में है। अगर आप भी IPO में निवेश करने का प्लान बना रहे हैं या करना चाहते हैं तो सबसे पहले ये समझ लीजिए कि IPO क्या होता है? दरअसल, जब कोई कंपनी अपने स्टॉक या शेयर्स छोटे-बड़े निवेशकों के लिए जारी करती है तो उसका जरिया IPO होता है। इसके बाद कंपनी शेयर बाजार में लिस्ट होती है।
IPO होता क्या है?
जब कोई कंपनी पहली बार अपनी कंपनी के शेयर्स को लोगों को ऑफर करती है तो इसे IPO कहते हैं। कंपनियों द्वारा ये IPO इसलिए जारी किया जाता है जिससे वह शेयर बाजार में आ सके। शेयर बाजार में उतरने के बाद कंपनी के शेयरों की खरीदारी और बिकवाली शेयर बाजार में हो सकेगी। यदि एक बार कंपनी के शेयरों की ट्रेडिंग की इजाजत मिल जाए तो फिर इन्हें खरीदा और बेचा जा सकता है। इसके बाद शेयर को खरीदने और बेचने से होने वाले फायदे और नुकसान में भागीदारी निवेशकों की होती है।
कंपनी IPO क्यों जारी करती है?
जब किसी कंपनी को अपना काम बढ़ाने के लिए पैसों की जरूरत होती है तो वह IPO जारी करती है। ये IPO कंपनी उस वक्त भी जारी कर सकती है जब उसके पास धन की कमी हो वह बाजार से कर्ज लेने के बजाय IPO से पैसा जुटाना चाहती हैं। शेयर बाजार में लिस्टेड होने के बाद कंपनी अपने शेयरों को बेचकर पैसा जुटाती है। बदले में IPO खरीदने वाले लोगों को कंपनी में हिस्सेदारी मिल जाती है। मतलब जब आप किसी कंपनी के शेयर खरीदते हैं तो आप उस कंपनी के खरीदे गए हिस्से के मालिक होते हैं।
क्या इसमें निवेश करने में रिस्क हो सकता है?
इसमें कंपनी के शेयरों की परफॉर्मेंस के बारे में कोई आंकड़े या जानकारी लोगों के पास नहीं होती है, इसलिए इसे थोड़ा रिस्की तो माना ही जाता है। लेकिन जो व्यक्ति पहली बार शेयर बाजार में निवेश करता है उसके लिए IPO बेहतर विकल्प है।
IPO में निवेश कैसे करें?
अगर आप IPO में इन्वेस्ट करना चाहते है तो उसके लिए आपको डीमैट या ट्रेडिंग अकाउंट खोलना होता है। ये अकाउंट एचडीएफसी सिक्योरिटीज, आईसीआईसीआई डायरेक्ट और एक्सिस डायरेक्ट जैसे किसी भी ब्रोकरेज के पास जाकर खोला जा सकता है। इसके बाद आपको जिस कंपनी में निवेश करना है उसमें आवेदन करें। निवेश के लिए जरूरी रकम आपके डीमैड एकाउंट से लिंक्ड एकाउंट में होनी चाहिए। निवेश की रकम तब तक आपके एकाउंट से नहीं कटती जब तक आपको शेयर अलॉट नहीं हो जाता।
जब भी कोई कंपनी IPO निकालती है उससे पहले इसका एक समय किया जाता है जो 3-5 दिन का होता है। उसी समय में उस कंपनी का IPO ओपन रहता है। जैसे शेयर मार्केट से हम एक, दो या अपने चुनाव से शेयर खरीदते है यहां ऐसा नहीं होता। यहां आपको कंपनी द्वारा तय किए गए लॉट में शेयर खरीदना होता है। ये शेयर की कीमत के हिसाब से 10, 20, 50, 100, 150, 200 या अधिक भी हो सकता है। वहां आपको 1 शेयर की कीमत भी दिखाई देती है।
IPO की कीमत कैसे तय होती है?
IPO की कीमत दो तरह से तय होती है। इसमें पहला होता है प्राइस बैंड और दूसरा फिक्स्ड प्राइस इश्यू ।
प्राइस बैंड कैसे?
शेयर की कीमत को फेस वैल्यू कहा जाता है। जिन कंपनियों को आईपीओ लाने की इजाजत होती है वे अपने शेयर्स की कीमत तय कर सकती हैं। लेकिन इंफ्रास्ट्रक्चर और अन्य क्षेत्रों की कंपनियों को सेबी और बैंकों को रिजर्व बैंक से अनुमति लेनी होती है। कंपनी का बोर्ड ऑफ डायरेक्टर बुक-रनर के साथ मिलकर प्राइस बैंड तय करता है। भारत में 20% प्राइस बैंड की इजाजत है। इसका मतलब है कि बैंड की अधिकतम सीमा फ्लोर प्राइस से 20% से ज्यादा नहीं हो सकती है। फ्लोर प्राइस वह न्यूनतम कीमत है, जिस पर बोली लगाई जा सकती है। प्राइस बैंड उस दायरे को कहते हैं जिसके अंदर शेयर जारी किए जाते हैं। मान लीजिए प्राइस बैंड 100 से 105 का है और इश्यू बंद होने पर शेयर की कीमत 105 तय होती है तो 105 रुपए को कट ऑफ प्राइस कहा जाता है। अमूमन प्राइस बैंड की ऊपरी कीमत ही कट ऑफ होती है।
आखिरी कीमत
स्टॉक मार्केट एक्सपर्ट अविनाश गोरक्षकर के अनुसार बैंड प्राइस तय होने के बाद निवेशक किसी भी कीमत के लिए बोली लगा सकता है। बोली लगाने वाला कटऑफ बोली भी लगा सकता है। इसका मतलब है कि अंतिम रूप से कोई भी कीमत तय हो, वह उस पर इतने शेयर खरीदेगा। बोली के बाद कंपनी ऐसी कीमत तय करती है, जहां उसे लगता है कि उसके सारे शेयर बिक जाएंगे।
अगर IPO में कंपनी के शेयर नहीं बिकते हैं तो क्या होगा?
अगर कोई कंपनी अपना IPO लाती है और निवेशक शेयर नहीं खरीदता है तो कंपनी अपना IPO वापस ले सकती है। हालांकि कितने प्रतिशत शेयर बिकने चाहिए इसको लेकर कोई अलग नियम नहीं है।
ज्यादा मांग आने पर क्या होगा?
मान लीजिए कोई कंपनी IPO में अपने 100 शेयर लेकर आई है लेकिन 200 शेयरों की मांग आ जाती है तो कंपनी सेबी द्वारा तय फॉर्मूले के हिसाब से शेयर अलॉट होते हैं। कंप्यूटराइज्ड लॉटरी के जरिए आई हुई अर्जियों का चयन होता है। इसके अनुसार जैसे किसी निवेशक ने 10 शेयर मांगे हैं तो उस 5 शेयर भी मिल सकते हैं या किसी निवेशक को शेयर नहीं मिलना भी संभव होता है।
बिना पैसा लगाए भी शेयर बाजार से कर सकते हैं कमाई , जानिये क्या हैं ये खास स्कीम
ब्रोकिंग फर्म ऐसे लोगों को ऑफर शेयर बाजार में कितने तरह से पैसा लगा सकते देती है जो बाजार की थोड़ी बहुत जानकारी रखते हों और वो फर्म की आय बढ़ाने में मदद कर सके. इन काम के लिये बहुत निवेश की जरूरत नहीं होती है. वहीं इन्हें साइड बिजनेस की तरह भी किया जा सकता है.
जल्द से जल्द कमाई करने का सपना देखने वालों के लिये शेयर बाजार (Stock Market) एक बड़ा आकर्षण होता है. लोग यहां दूसरों को मुनाफा पाते देख खुद भी ऐसा रिटर्न (Return) पाने का सपना देखते हैं. हालांकि बाजार की समझ न होने और बाजार में लगाने के लिये पैसा न होने की वजह से वो बाजार का फायदा नहीं उठा पाते. लेकिन क्या आप जानते हैं कि बाजार से पैसा कमाने के लिये आपको पैसा लगाने की जरूरत नहीं है. कई ऐसे तरीके हैं जहां आप पैसा (Money) लगाए बिना पैसा कमा सकते हैं और साथ ही साथ शेयर बाजार की अच्छी समझ भी हासिल कर सकते हैं. आज हम आपको ऐसे दो तरीके बताने जा रहे हैं जहां आप बिना पैसा लगाए बाजार को समझते हुए अपनी कमाई कर सकते हैं. वहीं एक बार आप बाजार को समझ जाएं तो अपना काम आगे बढ़ा सकते हैं.
Refer and Earn
ये विकल्प उन लोगों के लिये है जिन्हें शेयर बाजार की थोड़ी बहुत जानकारी होती है और वो इस बेसिक जानकारी का फायदा ब्रोकिंग फर्म के कारोबार को फैलाने में कर सकते हैं. ये एक तरह का साइड बिजनेस है जिसे आप अपने समय के हिसाब से कर सकते हैं. दरअसल इस प्रोग्राम के तहत आपको ब्रोकिंग फर्म्स को उनके डीमैट अकाउंट खुलवाने में मदद करनी होती है. बदले में आपको कैश और अन्य ऑफर मिलते हैं, अलग शेयर बाजार में कितने तरह से पैसा लगा सकते अलग ब्रोकिंग फर्म अलग अलग ऑफर दे रहे हैं. जैसे कोटक सिक्योरिटीज हर अकाउंट पर 500 रुपये देते हैं और आपके द्वारा खुलवाए गये खाते में होने वाली ट्रेडिंग पर मिलने वाले ब्रोकरेज का हिस्सा देते हैं. इसके साथ ही एचडीएफसी सिक्योरिटीज और आईसीआईसीआई सिक्योरिटीज भी ऐसे कार्यक्रम चला रही हैं. जिसमें कैश के साथ दूसरे ऑफर शामिल हैं. ध्यान रखने की बात है कि ये ब्रोकिंग फर्म हर महीने एक निश्चित संख्या तक ही फायदा देते हैं, ऐसे में इस काम में हर माह कमाई की एक सीमा है, लेकिन बाजार को समझते वक्त ये प्रोत्साहन कोई बुरा नहीं है.
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जल्द खत्म होगा सस्ते कर्ज का दौर, जानकारों की राय-इस साल RBI 2 से 3 बार बढ़ाएगा प्रमुख दरें
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इस योजना के तहत वित्तीय बाजार की जानकारी रखने वाले लोग ब्रोकिंग फर्म्स के साथ जुड़ कर अपने क्लाइंट्स शेयर बाजार में कितने तरह से पैसा लगा सकते को ट्रेडिंग सुविधा देकर या ब्रोकिंग फर्म के दूसरे फाइनेंशियल प्रोडक्ट्स की बिक्री बढ़ा कर कमाई कर सकते हैं . आप लोगों को शेयर कारोबार करने में मदद कर सकते हैं और बदले में आप अपनी आय बढ़ा सकते हैं. लगभग सभी ब्रोकिंग फर्म ऐसे ऑफर दे रहे हैं. आईसीआईसीआई डायरेक्टर ऑथराइज्ड पर्सन (AP), इंडीपेंडेंट फाइनेंशियल एसोसिएट (IFA), इनवेस्टमेंट एसोसिएट और लोन पार्टनर बनने के अवसर दे रहा है. एपी को छोड़ दें तो बाकी सभी के लिये आपको न तो कोई फीस देनी होती है और न ही आपको कोई ऑफिस बनाने की जरूरत होती है और न ही आपको ज्यादा अनुभव ही चाहिए होता है. अलग-अलग ब्रोकिंग फर्म अलग अलग नाम से ये स्कीम चला रहे हैं. साथ ही वो जरूरी ट्रेनिंग भी देते हैं. अगर आप भी अपना काम शुरू करना चाहते हैं तो आप ब्रोकिंग फर्म के साथ फाइनेंशियल प्रोडक्ट्स की बिक्री कर सकते हैं, ये काम रेवेन्यू शेयरिंग पर आधारित है यानि जितना आप कारोबार करेंगे आपकी अपनी आय भी उतनी ही बढ़ेगी. वहीं आप इस काम को साइड बिजनेस की तरह से भी कर सकते हैं.
'शेयर बाजार बंद'
Stock Market Closing Bell: आज 30 शेयरों पर आधारित प्रमुख बेंचमार्क इंडेक्स बीएसई सेंसेक्स (Sensex) 461.22 अंको यानी 0.75% की तेज गिरावट के साथ 61,337.81 पर बंद हुआ.
देश के शेयर बाजारों में गुरुवार को 30 शेयरों पर आधारित बीएसई सेंसेक्स 878 अंक यानी 1.40 प्रतिशत की गिरावट के साथ 61799 अंक पर बंद हुआ. नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी भी 245 अंक यानी 1.32 प्रतिशत की गिरावट के साथ 18,414 अंक पर बंद हुआ.
Stock Market Closing Bell: आज कारोबार के शुरुआत से ही शेयर बाजार में मजबूती देखी गई. मार्केट एक्सपर्ट का कहना है कि खुदरा मुद्रास्फीति के आंकड़े छह प्रतिशत के नीचे आने से शेयर बाजार के निवेशकों के रुख में बदलाव आया.
वैश्विक बाजारों के कमजोर रुख और विदेशी निवेशकों की सतत निकासी के बीच सोमवार को सतर्कता भरे कारोबार में सेंसेक्स 51 अंक के नुकसान में रहा. वहीं नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी लगभग सपाट रुख के साथ बंद हुआ. कारोबारियों के मुताबिक, नवंबर के मुद्रास्फीति आंकड़ों से पहले कारोबारियों ने सतर्कता बरती. बीएसई का 30 शेयरों पर आधारित सूचकांक सेंसेक्स 51.10 अंक यानी 0.08 प्रतिशत की गिरावट के साथ 62,130.57 अंक पर बंद हुआ. हालांकि, सेंसेक्स एक समय 505.52 अंक यानी 0.81 प्रतिशत तक लुढ़क गया था लेकिन बाद में इसमें सुधार आया.
बीएसई सेंसेक्स 389.01 अंक लुढ़क कर 62,181.67 और एनएसई निफ्टी 112.75 अंक की गिरावट के साथ 18,496.60 अंक पर बंद हुआ.
Stock Market Closing Bell:आज रिजर्व बैंक (RBI) ने लगातार पांचवी बार रेपो रेट में 30 बेसिस प्वॉइंट की बढ़ोतरी का ऐलान किया है.जिसका असर बाजारों पर देखा गया है.
Stock Market Opening Bell: कल के कारोबार के अंत में 30 शेयरों पर आधारित बीएसई सेंसेक्स (Sensex) 208.24 अंक यानी 0.33 प्रतिशत गिरकर 62,626.36 पर बंद हुआ था.
Stock Market Closing: सेंसेक्स के शेयरों में, टाटा स्टील, डॉ रेड्डीज, इंफोसिस, स्टेट बैंक ऑफ इंडिया, भारती एयरटेल, आईसीआईसीआई बैंक, इंडसइंड बैंक, टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज, टेक महिंद्रा, एचसीएल टेक्नोलॉजीज और मारुति के शेयरों को भारी नुकसान हुआ.
Dollar vs Rupee Rate Today: बाजार सूत्रों ने कहा कि विदेशी पूंजी प्रवाह बढ़ने और घरेलू शेयर बाजार में तेजी आने के बीच निवेशकों की कारोबारी धारणा मजबूत हुई है.
Sensex-Nifty Today: आज के कारोबार के अंत में बीएसई का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स 170.89 अंक यानी 0.28 प्रतिशत की गिरावट के साथ 61,624.15 अंक पर बंद हुआ. वहीं, निफ्टी कारोबार के अंत में 20.55 अंक यानी 0.11 प्रतिशत की मामूली गिरावट के साथ 18,329.15 अंक था.
अधिकतम अंक: 5
न्यूनतम अंक: 1
मतदाताओं की संख्या: 392